क्या है ब्रोंकोस्कोपी ? जाने कैसे करती है यह एक व्यक्ति को आसानी से साँस लेने में मदद

न्यूरोसिटी हॉस्पिटल के सीनियर कंसल्टेंट डॉक्टर विकेश गुप्ता ने अपने यूट्यूब चैनल में पोस्ट एक यूट्यूब शॉर्ट्स में ये बताया की बदलती जीवनशैली और प्रदूषण के बढ़ते स्तर के कारण अधिकतम लोगों को सांस लेने में काफी दिक्क्तों का सामना करना पड़ जाता है | कई मामलों में व्यक्ति को खांसी की समस्या काफी अधिक हो जाती है, जिसके चलते लगातार खांसी होने की समस्या उत्पन्न हो जाती है | यह समस्या उत्पन्न होने के कई प्रमुख कारण हो सकते है, जिन में से एक है फेफड़ों से जुडी किसी भी प्रकार के समस्या का उत्पन्न होना | इस समस्या का सही समय पर इलाज करना बेहद ज़रूरी होता है, नहीं तो यह आगे जाकर बहुत बड़ी बीमारी का विक्राल रूप धारण कर सकती है | 

 

डॉक्टर विकेश गुप्ता ने यह बीमारी को समझते हुए इसके इलाज में उपयोग किये जाने वाले प्रक्रिया के बारे में बताते हुए यह कहा की इस समस्या के इलाज के लिए एक प्रक्रिया का उपयोग किया जाता है जो है ब्रोंकोस्कोपी | ब्रोंकोस्कोपी एक ऐसी प्रक्रिया होती है, जिसके उपयोग से एक स्वास्थ्य सेवा प्रदाता किसी भी व्यक्ति के फेफड़ों के अंदर देख सकता है | इस प्रकिया में एक पतली और रौशनी वाली ट्यूब का इस्तेमाल किया जाता है | 

 

यदि आप भी साँस लेने में तकलीफ या फिर लगातार खांसी होने की समस्या हो रही है तो देरी न करें और जल्द ही किसी डॉक्टर के पास जाकर इस समस्या का अच्छे से इलाज करवाएं | इसके लिए आप न्यूरोसिटी हॉस्पिटल से परामर्श भी कर सकते है | इस संस्था के सीनियर कंसल्टेंट डॉक्टर विकेश गुप्ता पुमोनोलॉजिस्ट में स्पेशलिस्ट है, जो इस समस्या से छुटकारा दिलाने में आपकी पूर्ण रूप से मदद कर सकते है | इसलिए आप ही  न्यूरोसिटी हॉस्पिटल नामक वेबसाइट पर जाएं और अपनी अप्पोइन्मेंट को बुक करें | आप चाहे तो वेबसाइट पर दिए गए नंबरों से भी संपर्क कर सकते है |

इससे जुड़ी अधिक जानकारी के लिए आप दिए गए लिंक पर क्लिक कर इस वीडियो को पूरा देख सकते है | इसके अलावा आप न्यूरोसिटी हॉस्पिटल नामक यूट्यूब चैनल पर भी विजिट कर सकते है | इस चैनल पर इस विषय संबंधी संपूर्ण जानकारी पर वीडियो प्राप्त हो जायेगी | 

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    क्या है ब्रोंकोस्कोपी ? जाने कैसे करती है यह एक व्यक्ति को आसानी से साँस लेने में मदद
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    क्या है ब्रोंकोस्कोपी ? जाने कैसे करती है यह एक व्यक्ति को आसानी से साँस लेने में मदद

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    इन 5 कारणों से सिर की नसों में होता है दर्द, जाने कैसे पाएं इस समस्या से मुक्ति ?

    क्या आपको भी हर समय सिरदर्द की शिकायत रहती है, क्या आपके सिर में भी पिन की तरह चुभन का एहसास होता है ?  तो यह सिर की नसों में उत्पन्न दर्द होने का कारण हो सकता है | सिर के नसों में दर्द कई कारणों से हो सकते है | इन्हीं कारणों को जानने के बाद ही आप इस समस्या का इलाज करवा सकते है, ताकि समय रहते इस समस्या से आपको छुटकारा मिल सके | सिर की नसों में दर्द होने पर मरीज़ों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ जाता है | इस स्थिति में पीड़ित मरीज़ के शरीर में से कई तरह के लक्षण सामने आते है, जैसे की सिरदर्द, जलन होना, सिर में धड़कता हुआ दर्द होना, सिर दर्द का खोपड़ी तक पहुँच जाना, सिर के दोनों ओर दर्द होना, आंख के पीछे दर्द होना आदि लक्षण शामिल है | इन लक्षणों पर ध्यान देकर आप अपने स्थिति पर सुधार कर सकते है | आइये जानते है सिर की नसों में दर्द होने के मुख्य कारण कौन-से   है :-

    सिर की नसों में दर्द होने के मुख्य कारण कौन-से है ?     

    • डायबिटीज हो सकता है सिर में दर्द की वजह

     

    कई बार डायबिटीज़ के कारण भी सिर की नसों में दर्द होने लग जाता है | डायबिटीज़ एक ऐसी स्थिती होती है, जिसमें शरीर में इंसुलिन बनना बंद हो जाता है, ऐसे में सिर की नसों में दर्द होने लग जाता है | यदि आपको डायबिटीज़ है तो इससे न्युरोपैथी या फिर नसों में सूजन होना सामान्य है, जो नसों में दर्द का कारण बनता है |    

    • माइग्रेन की समस्या होने पर 

     

    माइग्रेन के कारण भी सिर की नसों में दर्द होने लग जाता है | यदि आपको माइग्रेन की समस्या है तो इससे सिर के पीछे तीव्र दर्द होने की संभावना हो सकती है, जिसकी वजह से यह दर्द आपकी नसों तक पहुँच जाता है | इसलिए यदि आपको माइग्रेन की दिक्कत है तो इसके इलाज के लिए डॉक्टर की सलाह ज़रूर लें |  

    • आर्थराइटिस से भी होता है सिरदर्द 

     

    कई बार सिर की नसों में दर्द ऑस्टियोआर्थराइटिस और रुमेटाइड के कारण भी हो सकता है | दरअसल आर्थराइटिस से पीड़ित मरीज़ों के ओसिसिपिटल नर्व पर काफी बुरा असर पड़ता है, जिसकी वजह से नसों पर तनाव काफी उत्पन्न हो जाता है | जिसकी वजह से नसों में दर्द और सूजन की समस्या बढ़ने लग जाता है |  

    • मांसपेशियों में दर्द की परेशानी 

     

    मांसपेशियों में होने वाले खिंचाव के कारण सिर की नसों पर भारी दबाव पड़ता है, जिसकी वजह से सिर की नसों में दर्द होने लग जाता है |  

    • चोट लगने से होता है सिरदर्द  

     

    सिर की नसों में लगे किसी भी प्रकार के चोट के कारण ओसिसिपिटल न्यूराल्जिया की समस्या उत्पन्न हो जाती है, जिस कारण सिर के पिछले हिस्से असहनीय दर्द होने लग जाता है | ऐसी स्थिति में बेहतर यही है की आप डॉक्टर के पास जाएं और अपना इलाज करवाएं | 

    यदि ऊपर बताई गई किसी भी स्थिति से आप गुजर रहे है तो बेहतर यही है की आप किसी डॉक्टर के पास जाएं और अपना जाँच-पड़ताल कराएं | इलाज के लिए आप न्यूरोसिटी हॉस्पिटल से परामर्श कर सकते है | इस संस्था में मौजूद सभी डॉक्टर पंजाब के सर्वश्रेष्ठ न्यूरोलॉजिस्ट में से एक है, जो इस समस्या का इलाज कर, इससे छुटकारा दिलाने में आपकी मदद कर सकते है | इसलिए परामर्श के लिए आज ही न्यूरोसिटी हॉस्पिटल नमक वेबसाइट पर जाएं और अपना इलाज करवाएं | इसके अलावा आप वेबसाइट पर मौजूद नंबरों से भी संपर्क कर सकते है |      

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      बच्चों को अस्थमा होने के मुख्य कारण क्या है ? जाइये एक्सपर्ट्स से कैसे करे बचाव

      बढ़ते प्रदुषण और अन्य कई कारणों से अब अस्थमा जैसी बीमारी के मामले बच्चों में भी पाए जा रहे है | बचपन में होने वाले अस्थमा की समस्या से  फेफड़ो और वायुमार्ग का कुछ ख़ास ट्रिगर्स के संपर्क पर जाते है, जिससे यह आसानी से सूज जाते है | ऐसे ट्रिगर्स की समस्या में पराग को अंदर लेने, सर्दी लगना या फिर अन्य श्रवसन संक्रमण शामिल होते है | बच्चों में अस्थमा की समस्या होने के कारण, उनके रोज़ाना होने वाले कार्य करने में भी बाधा डाल सकता है, जैसे की खेल-कूद के दौरान, स्कूल के दौरान या फिर नींद के दौरान भी खलल पड़ सकता है | 

      न्यूरो सिटी हॉस्पिटल के सीनियर डॉक्टर विकेश गुप्ता ने अपने यूट्यूब चैनल में पोस्ट एक वीडियो के माध्यम से इस बात का जाहिर किया की आज के दौर में बच्चे भी अस्थमा की समस्या से जूझ रहे है | बचपन में होने वाले अस्थमा बालिगों को होने वाले समस्या की तरह होते है,लेकिन बच्चों को खासकर इस समस्या से जुड़ी कई चुनौतियों का सामना करना पड़ जाता है | कभी-कभी यह स्थिति आपातकालीन विभाग में जाने, हॉस्पिटल में भर्ती होने और स्कूल न जाने की मुख्य वजह बन सकती  है | आइये जानते है इसके मुख्य लक्षण क्या है :- 

      • मुख से सांस को छोड़ते समय सिटी या फिर घरघराहट जैसे आवाज़ आना | 
      • सांस लेने में परेशानी होना | 
      • छाती में जमाव या फिर जकड़न जैसा महसूस होना | 
      • सुबह उठने के तुरंत बाद खांसी का लगातार होना | 
      • खेलने और व्यायाम के दौरान सांस लेने तकलीफ होना | 
      • हर समय थकान महसूस होना, जो की नींद पूरी न होने के कारण हो सकती है | 

       

      हर बच्चे में अस्थमा के लक्षण अलग-अलग तरह के होते है, जो समय के साथ-साथ बेहतर भी हो सकते और स्थिति बिगड़ भी सकती है | लेकिन इस बात का पता करना थोड़ा मुश्किल हो  जाता है की आपके बच्चे के लक्षण अस्थमा होने का कारण है की नहीं | अगर आपको संदेह हो रहा की कही आपके बच्चे को अस्थमा की समस्या तो नहीं, इसका पता करने लिए आप अपने बच्चे को स्वास्थ्य सेवा प्रदाता के पास ले जाये ताकि समय से पहले प्रारंभिक उपचार से इन लक्षणों को नियंत्रित करने और अस्थमा के हमले को रोकने में मदद मिल सके | 

      यदि आपका बच्चा भी अस्थमा की समस्या से जूझ रहा है तो बेहतर है की आप डॉक्टर के पास जाएं और इस समस्या का अच्छे से इलाज करवाएं | इसके लिए आप न्यूरो सिटी हॉस्पिटल से परामर्श भी कर सकते है, इस संस्था के डॉक्टर विकेश गुप्ता पुलमोनोलॉजिस्ट में एक्सपर्ट्स है, जिनकी मदद से आप अस्थमा जैसी बीमारी से छुटकारा पा सकते है |    

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        Expert Pulmonologist Dr. Vikesh Gupta Explains Bronchoscopy Surgery & Its Needs.

        Bronchoscopy surgery is used for various reasons. In this video, Dr. Vikesh Gupta explains the purpose of bronchoscopy surgery and why it is used. He explains that with the help of this surgery, the doctors examine the air passages in the lungs, and it can help detect problems at an early stage.

         

        It is beneficial for patients who have undergone X-rays and CT scans that show possible signs of tumour or cancer and also good for patients who see blood in their cough. He explains that with the help of this surgery, doctors can perform a biopsy on the tumour to understand its cause and treat it accordingly. 

        It is also beneficial for patients who may have TB or Tuberculosis but do not have a cough. It helps determine infection or inflammation in the lungs. It helps collect samples of mucus or tissues, which are later sent to a lab for further analysis. Bronchoscopy surgery helps in understanding and identifying the problem at an early stage so that it can be treated on time.

        Bronchoscopy surgery is safe and minimally invasive. It does not require you to get admitted and can be done in OPD as well. For the best bronchoscopy surgery or other related concerns, visit Neurociti Hospital and book your appointment.

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          Cervicogenic Headache: Symptoms, Causes, and Treatments

          A cervicogenic headache is defined by neck pain that radiates to the brain. It is a kind of headache brought on by another disease, such as an infection or a neck injury.

          Cervicogenic headaches are often confused for tension and migraine headaches, both of which can result in neck pain. This makes them distinct from main headaches like migraine and cluster headaches.

          If you experience this problem, you should seek advice from a medical professional at a reputable Neuro Hospital in Ludhiana to manage the situation more effectively.

          We go through just a few cervicogenic headache symptoms, causes, and treatments in this article.

          Symptoms

          One indication of CH is pain that occurs when your neck moves suddenly. Another is that having your neck in the same posture for an extended time might cause head pain.

          Other indications could be:

          • One side of your head or face may be in pain.
          • steady yet non-throbbing ache
          • When you breathe deeply or cough, your head may hurt.
          • a pain attack that may last for several hours or days
          • You cannot move your neck normally if it is stiff.
          • Pain that is confined to one area, such as the side, back, or front of your head or an eye

          Despite the differences between CH and migraines, some symptoms may be comparable. You could, for instance:

          • Feel sick to your stomach
          • Tough choice
          • Having shoulder or arm pain
          • Feel sick or uneasy under bright light
          • Feel sick or uneasy with loud noise
          • Have blurry vision
          • Some people feel both CH and a migraine simultaneously. It can be challenging to see the truth in this situation.

          Causes

          Cervicogenic headaches can be brought on by a variety of factors, and sometimes it’s impossible to identify the exact cause.

          CH can occur from long-term issues with your neck’s vertebral column, joints, or neck muscles. For instance, the way some people hold their heads while working, such as hair stylists, carpenters, and truck drivers, might cause CH.

          People who raise their heads out in front of their bodies occasionally get CH. “Forward head motion” is what that is, and it strains your neck and upper back.

          It can also come from a sports injury, whiplash, arthritis, or a tumble. Alternatively, your neck’s nerves could be compressed (squeezed).

          Cervicogenic headaches can also occur from a tumor or a fracture (minor break) in your neck or upper spine.

          Treatment

          There are different methods to reduce or alleviate the pain that comes with cervicogenic headaches:

          Medication: Non-steroidal anti-inflammatories, muscle relaxants, and other pain medications, such as aspirin or ibuprofen, may help to reduce the pain.

          Nerve block: This may provide short-term pain relief and improve your ability to benefit from physical therapy.

          Physical therapy: Stretching and exercise are helpful in physical therapy. Consult a Neurologist in Ludhiana to decide the best and safest form of exercise for you.

          Spinal manipulation: This combines joint movement, physical treatment, and massage. Only a physical therapist, a chiropractor, or an osteopath should perform it (a doctor who has special training in the way your nerves, bones, and muscles work together).

          Other options:  Acupuncture and relaxation techniques like deep breathing or yoga are 

          examples of non-surgical treatments to manage the discomfort.

          Surgery: Despite the rarity, if your CH discomfort is extreme, the Best neurosurgeon in Ludhiana can suggest a treatment to avoid pinching your nerves.

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            Everything About The Diagnostic Tests For Neurological Disorders

            Do you know the biggest reason people face serious neurological disorders?

            Well, the answer is unawareness. People are unaware of the signs and symptoms, diagnostic tests, and many more such things, which increases the effect of their neurological disorders. Hence instead of consulting the best neurosurgeon in Ludhiana, they will focus on home remedies and many more such things.

            In this blog, we are going to talk about the diagnostic tests for neurological disorders, with the help of which you can know when you need to see a neurologist in Ludhiana and when you can get yourself treated with normal medicines.

            Diagnostic Tests For Neurological Disorders

             Diagnostic tests for neurological disorders are one such test with the help of which you would be able to understand the situation of your neurological system. However, the symptoms of neurological disorders are similar to other disorders, and because of this, people face confusion about what type of disorder they are facing.

            But, with the help of diagnostic tests, you can get clarity around the neuro problems you might be facing. Hence, after knowing about the conditions, you can directly contact Neurociti Hospital, the best Neuro Hospital in Ludhiana.

             Different Types of Diagnostic Tests For Neurological Disorders

             For diagnosing disorders linked with your nervous system, here are the different types of tests you should go for or would be suggested by your neurosurgeon.

            • CT Scan:

            If you want to get a detailed scan of various body parts, such as the brain, spine, and nervous system as a whole, then a CT scan is the perfect option for you. With the help of a CT scan, you would be able to get a detailed x-ray of that specific part which is directly going to help you know more about the potential neuro problems you might be facing.

            • EEG:

            When you are facing brain-related neuro disorders, there are high chances that the electrical activity in your brain will be different from a normal person, and when you want to know about the electrical activity of your brain, Electroencephalogram is the most reliable diagnostic test for you.

            • MRI:

            If you want to create a complete and well-structured image of your internal organs, then MRI is the best option for you. It is said that MRI is way more detailed and better than CT scans and other diagnostic tests.

            • Arteriogram:

            In neurological disorders, blood vessel blockage is one of the biggest issues behind a number of serious problems. With the help of an arteriogram diagnostic test, you will get a complete image of your arteries and veins that will help you learn more about the blockage in your blood vessels.

            • Neurosonography:

            If you are facing stroke and other such health conditions, neuro sonography is the best diagnostic test with the help of which the blood flow will be tracked to know upcoming strokes.

            Conclusion:

            Diagnosing neurological disorders is not difficult nowadays; you just need to be aware of the right diagnostic test for the neurological disorder. We hope you were able to learn about the different diagnostic tests that can help you learn about the neurological disorders you are facing.

            To get rid of those neurological disorders, make sure to get in touch with Neurociti hospital.

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              दिमाग की नसों के कमजोर होने के क्या है गंभीर लक्षण ?

              दिमाग का हमारे शरीर में बहुत ही महत्वपूर्ण स्थान है अगर किसी कारणवश इनमें किसी भी तरह की समस्या आ जाती है तो कैसे हम इस समस्या से खुद का बचाव कर सकते है।

              क्युकि दिमाग की नसें जब कमजोर होती है तो हम बता नहीं पाएंगे की हममे क्या परेशानी है पर हां इसके गंभीर लक्षणों को देखकर इस समस्या का पता लगाया जा सकता है, तो जानते है की आखिर ऐसे कौन-से लक्षण है जिनको जानकर हम खुद का बचाव कर सकते है ;

              दिमाग की नसों के कमजोर होने के लक्षण क्या है ?

              जब हमारे द्वारा अपने शरीर का अच्छे से ध्यान नहीं रखा जाता और ज्यादा सोचना भी दिमाग की नसों में कमजोरी की समस्या को उत्पन्न कर सकता है, इसके अलावा इसके लक्षणों को हम निम्न में प्रस्तुत करेंगे, जैसे;

              • दिमाग हमारे शरीर को अच्छे से कार्य करने की क्षमता को प्रोत्साहित करता है, लेकिन इसमें अगर कमजोरी आ जाए तो व्यक्ति को “चलने में दिक्‍कत” का सामना करना पड़ता है। 
              • इसके अलावा जब हमारे दिमाग की कोशिकाएं हद से अधिक प्रभावित होती है तो दिमाग को “स्टॉक” की समस्या का सामना करना पड़ता है।
              • तो वही जब हमारे दिमाग की नसें कमजोर हो जाती है तो अचानक “सिरदर्द” की समस्या उत्पन्न हो जाती है। 
              • शरीर में लगातार झुनझुनी का होना दिमाग की नसों की कमजोरी के लक्षणों में शामिल है।
              • जैसे की दिमाग हमारे पूरे शरीर को डायरेक्ट करता है लेकिन इनमे अगर कोई परेशानी आ जाए तो शरीर में “तालमेल को बैठाने में कमी” आ जाती है।

              अगर दिमाग में कमजोरी के लक्षणों ने आपको बहुत परेशान कर रखा है तो इससे निजात पाने के लिए आपको बेस्ट न्यूरोलॉजिस्ट लुधियाना के संपर्क में आना चाहिए।

              दिमाग की नसों में कमजोरी के कारण क्या है ?

              दिमाग की नसों के कमजोर होने के कई कारण है, जैसे ;

              • किसी गंभीर संक्रमण का होना। 
              • दिमाग में आघात की समस्या। 
              • स्ट्रोक की समस्या। 
              • डायबिटीज का होना भी इसके एक कारण में शामिल है।  
              • गठिया के कारण। 
              • दिमाग में ट्यूमर का कारण। 
              • और खराब ब्लड सर्कुलेशन आदि इसके कारणों में शामिल है।

              इसके अलावा अगर आपकी दिमाग की नसों में कमजोरी कैंसर की वजह से आई है, तो इससे बचाव के लिए आपको बेस्ट न्यूरोसर्जन लुधियाना से समय रहते दिमाग की सर्जरी को करवा लेना चाहिए।

              दिमाग की नसों की कमजोरी को ठीक करने के लिए बेस्ट हॉस्पिटल ?

              • अगर आपने दिमाग की नसों की कमजोरी के कारणों और लक्षणों के बारे में जान लिया है तो इन समस्याओं से बचाव के लिए आपको न्यूरो सीटी हॉस्पिटल के संपर्क में आना चाहिए। पर ध्यान रहे दिमाग में कोई खतरनाक समस्या उत्पन हो गई है और उसको ठीक करवाने के लिए सर्जरी की जरूरत पड़े तो इसके लिए आपको इसी हॉस्पिटल के अनुभवी न्यूरोसर्जन के संपर्क में आना चाहिए।
              • इसके अलावा इस हॉस्पिटल की बात करे तो यहाँ पर अनुभवी डॉक्टरों के द्वारा आधुनिक उपकरणों की मदद से मरीजों का इलाज काफी अच्छे तरीके से किया जाता है।

              निष्कर्ष :

              दिमाग के बिना व्यक्ति के शरीर का कोई भी अंग ठीक तरीके से कार्य करने में असमर्थ होगा इसलिए अगर इनमे किसी भी तरह की परेशानी आ जाए तो इससे बचाव के लिए आपको बेहतरीन डॉक्टर के संपर्क में आना चाहिए। और दिमाग के मामले में आपको जरा-सी भी लापरवाही नहीं बरतनी है।

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                Spasticity – Causes, Symptoms, & Treatment Methods

                Have you ever noticed that everything was going normal, but suddenly one of your muscles stiffened up, and now you are unable to move that body part at all? Secondly, your blood is being blocked due to this issue, and you have tried your level best; it’s not being stretched.

                If you have ever faced this issue or frequently face it, then this means you are facing Spasticity, which is a neurological disorder. To know more about this neurological disorder, make sure to follow this post till the end.

                We are going to talk about the symptoms, causes, treatment methods, and the best neurosurgeon who can help you with this health issue.

                Causes of Spasticity

                 Generally, Spasticity is one such neurological disorder faced by people who have damaged brain areas that control the muscles and reflexes. Due to such issues, people can face serious muscle and joints related health issues, and the biggest risk of this neurological disorder is on the kids.

                If you have any type of brain injury or spinal injury, then you are at a high risk of spasticity and neurological disorder.

                Symptoms of Spasticity

                 Symptoms of Spasticity can vary from the tightness of muscles to severe pain-related issues in your muscles. Let us have a look at all the symptoms linked with Spasticity, with the help of which you can know if you or someone is facing this issue or not.

                • The first symptom is muscle stiffness, in which your overall movement or body will change. You will be able to notice that you are unable to do a task in the right way at all.
                • The next symptom is when you face muscle pain issues. You can also consider it as the second stage of Spasticity.
                • You will notice a lot of muscle or joints related deformities, which will be clearly visible. In this case, you should get in touch with the best Neurologist in Ludhiana for your treatment.
                • If you are facing muscle fatigue-related issues even when you are not doing any heavy work, this is also a sign of Spasticity.

                When to Seek A Neurologist?

                 Even if you face a minor or the first-ever symptom of Spasticity, make sure that you are getting in touch with your neurologist. If you are not getting in touch with your doctor, then there are high chances that you can face issues like frozen joints or painful muscle issues which are unbearable.

                Wherever you will visit a neuro hospital in Ludhiana, they will examine your body physically, on the basis of which the doctor will figure out the stage of your Spasticity. Hence later, physiotherapy and medical treatment will start.

                There are plenty of surgical and non-surgical treatment methods for Spasticity. On the basis of your condition, your doctor will suggest the right fit for you.

                Conclusion:

                Spasticity is a serious neurological disorder, although the signs and symptoms start from very few issues. But make sure to keep an eye on all the symptoms and causes behind this issue and take help from a doctor. If you are looking for the best neurosurgeon in Ludhiana, then Neurociti hospital is the most reliable place for you.

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                  Neurological Issues That Can Lead To The Concern With Your Vision

                  Everyone understands the issues of eyesight; nearsightedness, farsightedness, and other eye issues. But were you aware that your vision depends on a delicate network of your brain cells? In case those brain cells are damaged, you may develop an issue with eyesight. In that case, you need to see Neuro Hospital in Ludhiana.

                  There are some neurological issues that can harm your eyesight; optic neuritis- people who have multiple sclerosis can develop the swelling of the optic nerve, Ischemic optic neuropathy; which occurs when the blood flow does not reach the optic nerve; in this case, it is imperative to see the Best neurosurgeon in Ludhiana.

                  The other issues that can harm your eyesight are primary open angle glaucoma- when your eyes are unable to shed tears, so the pressure builds up, it can lead to pressure on the optic nerve, which can even damage and the other issue is Parkinson’s disease- in this condition, you will not be able to blink and move your eyes. All these mentioned issues need Neurologist in Ludhiana to be treated well.

                  Optic Neuritis

                  Optic neuritis is an expressway between signals of the eye to the brain. This movement is responsible for a clear vision. However, if the nerve is swollen, it may block the messages sent to the brain.

                  Optic neuritis is linked to multiple sclerosis(MS). This condition can even lead to swelling of nerves all around the body. Researchers have seen that many people do not recognize they have MS until it fully develops in optic neuritis.

                  The following risks are connected with optic neuritis

                  • Infections; cat-scratch fever, bacterial infections, and Lyme disease can cause the optic nerve to swell.

                  • Viruses; measles, mumps, and herpes can lead to swelling in the optic nerve.

                  • Medicines; some antibiotics and medicines can cause swelling in the optic nerve.

                  Following symptoms, you may notice when your optic nerve is swollen.

                  • Visual illusions; you may come across glimmering or flashing lights, or the colors may seem dull.

                  • Pain in the eye; the pain in the eye may even cause you a headache which may further lead to difficulty in moving your eye.

                  • Vision Loss; you may face dimming and blurring of your vision, but in some cases, people are unable to see anything.

                  Treatment

                  Your ophthalmologist(eye doctor) can determine optic neuritis by any exam. They will measure your response to brightness and how you differentiate between colors. Doctors can even opt for MRI so that they can diagnose quickly.

                  The doctor can prescribe corticosteroids so that the swelling in your optic neuritis reduces. It has been seen that with this medicine, some people recover fully. However, it is crucial to see a doctor if you have developed optic neuritis, as your condition may worsen without medications.

                  Best Bet

                  Multiple Sclerosis(MS) is a condition that needs urgent medical attention. However, getting medical attention in the first stage may not lead to further issues. For treatment, visit Neuro Citi Hospital. Here your treatment will be carried out with highest care.

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                    Neuro care: Most common signs that require you to consult a neurologist

                    Neuro care: The care that you should not neglect

                    Do you have someone in your known struggling with poor neuro health? Indeed! When it comes to the brain and nervous system, you should be mindful and consult the doctor for a detailed neurological examination. When you visit the Neuro Hospital in Ludhiana, the doctor will give you the treatment plan based on your specific condition by thoroughly checking the spinal cord and brain along with different muscles and nerves.

                    Neurological conditions are of different types, so you must consult a medical expert without delay. Some of the common conditions are Epilepsy, stroke, multiple sclerosis (MS), and Parkinson’s disease. Now, if you are wondering which symptoms require you to schedule an appointment with one of the Best Neurology Consultants in Ludhiana, then the blog will help you understand.

                    Signs or reasons that tell to consult a neurologist

                    When you initially visit the neurologist for a detailed examination, he carefully analyzes what’s wrong by performing several tests. Based on test results, there’s greater ease to differentiate and point toward the specific cause of poor neuro health. Some of the common signs that points toward poor neuro health are:

                    Sign 1: Chronic pain

                    Do you have chronic pain all the time? In that case, it’s essential that you get proper management and do not delay consulting a neurologist. The doctor’s assistance will guide you towards the right step to ease the symptoms from getting any worse.

                    Sign 2: Severe or chronic headache

                    Migraine headache is another common concern that requires consulting a neurologist. Bear in mind that if the situation is neglected for a longer period, then there are high chances for the situation to worsen with time.

                    Sign 3: Dizziness

                    Dizziness or vertigo is another concern that tells your neuro health is having difficulties. So, if you have this rapid feeling of spinning, then consult the neurologist. Sometimes, the condition might be the reason for serious health concerns.

                    Sign 4: Tingling or numbness

                    Do you feel numbness or tingling sensation on the side of the body? Or Do you feel the sensation come all of a sudden? There are high chances of the situation pointing toward stroke. So, make sure that you take prompt action.

                    Sign 5: Trouble with movement

                    Do you have problems with your bodily movement? Like do you notice the symptoms:

                    • Problem walking
                    • Tremors
                    • Feet shuffling
                    • Unintentional jerks

                    Don’t ignore any of the given symptoms as these point toward problems with the nervous system. So, you should make an informed decision.

                    Sign 6: Confusion or memory problem

                    Sometimes, the person can have trouble with their memory which means forgetting things or not being able to recognize their loved ones. Moreover, the person can go through personality changes or mix up words that are not even right. With all these signs, there’s the possibility of experiencing Alzheimer’s disease.

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